कार्तिक वासुदेव क्रेडिट सोशल मीडिया हैंडल |
21 साल के कार्तिक वासुदेव को टोरोंटो में गुरुवार शाम को मारी गई थीं कई गोलियां,गाज़ियाबाद में रहने वाले कार्तिक के परिवार को हत्या के हेट क्राइम होने का शक़, कार्तिक के पिता ने विदेश मंत्री एस जयशंकर से मदद मांगी, कहा- अंधेरे में रख रही है टोरोंटो पुलिस
नई दिल्ली (9 अप्रैल)|
कनाडा के टोरोंटो में 21 साल के भारतीय छात्र कार्तिक वासुदेव की मौत के बाद दिल्ली से सटे गाज़ियाबाद में उसका परिवार सदमे में हैं. वो समझ नहीं पा रहा है कि आखिर उनके जिगर के टुकड़े के साथ हुआ क्या? कार्तिक वासुदेव को गुरुवार की शाम को टोरोंटो के सबवे स्टेशन के पास गोली मार दी गई थी, उस वक्त जॉब पर जा रहा था.
कार्तिक माता-पिता, छोटे भाई के साथ (कार्तिक के पिता जितेश वासुदेव के ट्विटर हैंडल से) |
इंडियन एक्सप्रेस की रिपोर्ट के मुताबिक वासुदेव परिवार अभी तक अंधेरे में है कि आखिर वासुदेव की हत्या के पीछे किसी का क्या मकसद था. इस परिवार की भारत सरकार से मांग है कि वो स्थिति स्पष्ट कराने में मदद करें, साथ ही दोषी को पकड़ कर न्याय दिलाने के लिए कनाडा सरकार पर दबाव बढ़ाए.
कार्तिक के पिता जितेश वासुदेव का कहना है- "हम पहले दिन से ही कार्तिक की मौत को लेकर अंधेरे में हैं. हमें एम्बेसी या कनाडा अथॉरिटीज़ से कोई कॉल नहीं आया है. कार्तिक अकेला था जिसकी हत्या की गई और इस अपराध के पीछे पूरी तरह चुप्पी है. मैं महसूस करता हूं कि हर कोई इस मुद्दे को ऐसे ही ठंडा होने देना चाहता है लेकिन में इंसाफ़ के लिए हर दरवाज़े पर दस्तक दूंगा."
जितेश वासुदेव ने विदेश मंत्री एस जयशंकर को भी 9 अप्रैल दोपहर को एक ट्वीट में टैग करके लिखा- "हैलो सर, मैं कार्तिक वासुदेव का पिता हूं, मैं भारत सरकार से मदद चाहता हूं जिससे कि मेरे बेटे के पार्थिव शरीर को भारत लाया जा सके और उसे इंसाफ दिलाया जा सके. अपराधी को तत्काल पकड़ा जाना चाहिए.हमें टोरोंटो पुलिस से कोई सपोर्ट नहीं मिल रही. हमें अपने परिवार के सदस्यों के लिए तत्काल वीज़ा की ज़रूरत है."
Hello Sir, I am father of Kartik Vasudev, we need support from GOI to get my son's body back to India and justice for my son. The culprit should be caught immediately. We are not getting any support from Toronto police. We need immediate visa for our family members. Pls support.
— Jitesh Vasudev (@vasudev_jitesh) April 9, 2022
इससे पहले विदेश मंत्री जयशंकर ने टोरोंटो स्थित भारतीय वाणिज्य दूतावास के एक ट्वीट को रीट्वीट करते हुए शोक जताया था कि इस त्रासद घटना से बहुत दुखी हूं, परिवार के लिए गहरी संवेदनाएं
Grieved by this tragic incident. Deepest condolences to the family. https://t.co/guG7xMwEMt
— Dr. S. Jaishankar (@DrSJaishankar) April 8, 2022
कार्तिक सेनेका यूनिवर्सिटी से ग्लोबल मैनेजमैंट कर रहा था. साथ ही उसने डाउनटाउन एरिया में एक रेस्त्रां में जॉब भी ढूंढ लिया था. वो गुरुवार को जॉब पर ही जा रहा था कि स्थानीय समयानुसार शाम पांच बजे उस पर गोली चलाई गई. आम तौर पर वो यही मेट्रो रूट लेता था और शेरबॉर्न स्टेशन से दो स्टेशन आगे उतरता था. लेकिन गुरुवार को उसके मैनेजर ने शेरबॉर्न स्टेशन के पास से एक पैकेज पिक करने को कहा था. समझा जाता है कि उस पर कई गोलियां चलाई गई थीं.
स्थानीय पत्रकरों ने कार्तिक के परिवार को बताया कि उस पर आठ गोलियां चलाई गईं. अभी तक हत्यारा पुलिस की पकड़ में नहीं आया है.
टोरोंटो पुलिस ने एक बयान में कहा है कि एक शख्स को शेरबॉर्न सबवे स्टेशन के ग्लेन रोड एंट्रेस पर गोली मारी गईं. ऑफ ड्यूटी पैरामैडिक की ओर से मेडिकल अटैंशन दी गई. शख्स को मल्टीपल गनशाट्स के घाव थे, उसे अस्पताल ले जाया गया जहां उसने चोटों की वजह से दम तोड़ दिया.
इंडियन एक्सप्रेस की रिपोर्ट के मुताबिक परिवार को शक है कि ये डकैती नहीं हेट क्राइम हो सकता है. उसका बैग वहीं छोड़ दिया गया, इससे लगता है कि ये डकैती नहीं थी. संभव है कि ये हेट क्राइम था. हम बस इतना चाहते हैं कि कोई हमारे सवालों को जवाब दे. कोई नहीं हमें बता रहा कि एक युवा लड़के को क्यों मार दिया गया.
सेनेका यूनिवर्सिटी की स्टूडेंट्स फेडेरेशन ने कार्तिक के लिए शोक जताते हुए यूनिवर्सिटी का फ्लैग झुका दिया.
(1) We are deeply saddened by the tragic loss of Kartik Vasudev, a student at Seneca College.
— Student Federation (@SenecaSSF) April 8, 2022
Our thoughts and prayers are with Mr. Vasudev's family and friends. pic.twitter.com/uFi9kILWfh
कार्तिक के परिवार के मुताबिक उसे फूड बहुत पसंद था, शायद इसी वजह से उसने रेस्त्रां में पार्ट टाइम ज़ॉब ढूंढा. कार्तिक के पेरेन्ट्स ने उसे सलाह दी थी कि वो पहले यूनिवर्सिटी और शहर में अच्छी तरह सैटल हो जाए, लेकिन कार्तिक फौरन जॉब करना चाहता था. कार्तिक इसी साल जनवरी में घरवालों से गले मिलकर खुशी खुशी कनाडा के लिए रवाना हुआ था. कार्तिक के परिवार में माता-पिता के अलावा एक छोटा भाई और है.
कार्तिक के परिवार को बताया गया है कि उसका पार्थिव शरीर भारत आने में करीब छह दिन का वक्त लग सकता है. लेकिन कार्तिक के पिता का कहना है कि उनके वीज़ा की प्रक्रिया को तेज़ किया जाए जिससे कि वो जल्दी से कनाडा पहुंच सकें. सरकार को हमारे कनाडा जल्दी जाना आसान करने में मदद करनी चाहिए. जिससे कि हम वहां जाकर इंसाफ मांग सकें. मैं खुद स्पॉट पर जाना चाहता हूं और देख सकूं कि अपराधी को दंडित किया जाए. हम हमेशा समझते ऱहे कि ऐसे देश सुरक्षित हैं लेकिन ऐसा नहीं है.