एक शराबी टुन्न होकर घर लौट रहा था...रास्ते में मंदिर के बाहर एक पुजारी दिखाई दिए...
शराबी ठहरा शराबी, पुजारी से ही पंगा लेने को तैयार...पूछ बैठा...सबसे बड़ा कौन ?
पुजारी ने पीछा छुड़ाने के लिए कहा...मंदिर बड़ा...
शराबी...मंदिर बड़ा तो धरती पर कैसे खड़ा ?
पुजारी...धरती बड़ी...
शराबी...धरती बड़ी तो शेषनाग पर क्यों खड़ी ?
पुजारी...शेषनाग बड़ा...
शराबी...शेषनाग बड़ा तो शिव के गले में क्यों पड़ा ?
पुजारी...शिव बड़ा...
शराबी...शिव बड़ा तो पर्वत पर क्यों खड़ा ?
पुजारी...पर्वत बड़ा...
शराबी...पर्वत बड़ा तो हनुमान के हाथ पर क्यों पड़ा ?
पुजारी...हनुमान बड़ा...
शराबी...हनुमान बड़ा तो राम के चरणों में क्यों पड़ा ?
पुजारी...राम बड़ा...
शराबी...राम बड़ा तो रावण के पीछे क्यों पड़ा ?
पुजारी...अरे मेरे बाप तू ही बता, कौन बड़ा ?
शराबी...इस दुनिया में वो बड़ा, जो पूरी बाटली गटक कर अपनी टांगों पर खड़ा...
(एक दोस्त के भेजे एसएमएस पर आधारित)
स्लॉग ओवर
गुल्ली भागता हुआ घर आया...चेहरे पर हवाईयां उड़ रही थीं..
पिता मक्खन ने पूछा...क्या हुआ ? ऐसे घबराया हुआ क्यों है ?
गुल्ली...डैडी जी, मेरे पीछे दो बकरियां पड़ गईं...उन्हीं से बच कर आ रहा हूं...
मक्खन...शेर का पुतर होकर बकरियों से डर गया...शर्म आनी चाहिए तुझे...
गुल्ली...ओ डैडी जी आपको नहीं पता...मेरे मास्टर जी कहते हैं, मेरे दिमाग़ में भूसा भरा हुआ है...अगर वो बकरियां...
हिच...हिच.. हिच... शराबी बड़ा... वैसे आपको पता है भैया.... शराब पीकर अनपढ़ भी... अंग्रेजी बोलता.... है....ही ही ही ....
जवाब देंहटाएंगुल्ली बिलकुल बाप पर गया है.....
जय हिंद....
अरे महफूज़ भाई आप भी !!?? ..................मुझे तो लगा सिर्फ़ मैं ही अंग्रेजी बोलता हूँ !!
जवाब देंहटाएंखुशदीप भाई, आप भी बोलते हो अंग्रेजी क्या ??
जवाब देंहटाएंयह बात बिलकुल सच है पुरी बोतल पी के अपने पेरो पर जो खडा वो बडा... वेसे हम तो भईया अपना कोटा पुरा कर चुके, अब बीयर पी लेते है इस लिये जर्मन बोलते है
जवाब देंहटाएंओर हां गुल्ली पुत्र बडा सायाना हो गया है जी
शिवम मैं तो पंजाबी भी अंग्रेज़ी में ही बोलता हूं...
जवाब देंहटाएंजय हिंद...
ha ha ha ha .....अलग अलग ब्रांड से निकलती हैं अलग अलग भाषाए क्या बात है...
जवाब देंहटाएंजल से पतला कौन है
जवाब देंहटाएंकौन भूमि से भारी
कौन अगन से तेज है
कौन काजल से काली
जल से पतला ज्ञान है
और पाप भूमि से भारी
क्रोध अगन से तेज है
और कलंक काजल से काली.....
agar wo bada to taangon par kyon khada? ;)
जवाब देंहटाएंha ha ha.. bahut khoob bhai ji
बढ़िया है पर मैं तो जाने क्या क्या बोलता हूं.....पर सच बोलता हूं.....औऱ ये अंग्रेजी से भारी है....मुझ पर उल्टी पड़ जाती है हीह ीहीहीहीही
जवाब देंहटाएंये ही तो दिक्कत है आजकल बड़ा बनने की.ये तो खैर शराबी था. लोग तो पूरे होश में खुद को बड़ा साबित करने में कोई कमी नहीं छोड़ते
जवाब देंहटाएंहा हा.
जवाब देंहटाएंअच्छा तो ये बात है , रुकिए तो कभी पी के बताते हैं ।,
जवाब देंहटाएंha...हा...ਹਾ...ہا...
जवाब देंहटाएंmazedaar...मजेदार....ਮਜੇਦਾਰ...مزیدار
अरे!...ये क्या?...
जवाब देंहटाएंमैं तो बिना पिए ही चार-चार भाषाओं में कमेन्ट करने लग गया
खुशदीप भाई !
जवाब देंहटाएंब्लागवाणी पर देख रहा था ,आज आपकी इस पोस्ट पर एक नापसंद का निशान ! ऐसा क्यों लिखते हो कि लोग आपके लेख को नापसंद बताएं ! वैसे यह पसंद नापसंद है क्या ?
हा हा बहुत बढ़िया
जवाब देंहटाएंसंवाद वैसे पुराना हैं पर पर्स्तुती अच्छी हैं.
.
जवाब देंहटाएं@-इस दुनिया में वो बड़ा, जो पूरी बाटली गटक कर अपनी टांगों पर खड़ा...
wow !
Lovely !
इस दुनिया में वो बड़ा, जो पूरी बाटली गटक कर अपनी टांगों पर खड़ा...
जवाब देंहटाएंवही बड़ा ...
गुल्ली तो हमारे जैसा ही ईमानदार निकला ...
@ अदा जी
आजकल भजन सुने जा रहे है ...
क्या बात है ...!!!!
हा हा हा…………दोनों ही मज़ेदार्।
जवाब देंहटाएंब्लॉग ओवर और स्लॉग ओवर
जवाब देंहटाएंदोनों ही मस्त।
he he he....kahan kahan se dhoondh kar laate hai janab...bahut khoob
जवाब देंहटाएंएक दिन मैं भी कोशिश करूंगा, सबसे बडा होने की
जवाब देंहटाएंहा-हा-हा
गुल्ली ने अपनी संपत्ति बचा ली, वेरी गुड, गुल्ली
भाई साहब,
जवाब देंहटाएंमजा तो आ ही गया। आपके पास लगता है इस तरह की चीजों का जबरदस्त भंडार है।
गजब।
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पड़ोसी की गई क्या?
गूगल आपका एकाउंट डिसेबल कर दे तो आप क्या करोगे?
हा..हा...हा...
जवाब देंहटाएंमजा आ गया।
इस दुनिया में वो बड़ा, जो पूरी बाटली गटक कर अपनी टांगों पर खड़ा...
जवाब देंहटाएंआजकल बड़े बड़े ओहदों पर भी ऐसे ही बड़े ज्यादा नज़र आते हैं।
दुनिया के सब धर्मग्रंथो और दर्शंन शास्त्र के ग्रंथों से भी बड़ा ग्रंथ ..इसके भीतर है भाई...।
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